नया वर्ष-नया उत्साह
अजय दीक्षित
नववर्ष 2023 प्रारम्भ हो गया है। नया साल नया सबेरा, नया उजाला, नई उम्मीदें, नए लक्ष्य और नई उपलब्धियां लेकर आया है, हम ऐसी मंगल कामना करते हैं। भारत और विश्व के सन्दर्भ में नए साल के कई महत्वपूर्ण मायने हैं। भारत इस पूरे साल के दौरान जी-20 देशों के समूह संगठन का आतिथ्य करेगा। भारत को गुजरते साल में जी- 20 की अध्यक्षता पहली बार सौंपी गई। नए साल में अमरीका, चीन, रूस, ब्रिटेन, फ्रांस, जर्मनी से लेकर इण्डोनेशिया और ब्राजील तक विकसित और विकासशील देशों के राष्ट्रपति या प्रधानमंत्री शिखर सम्मेलन में एक ही मंच पर एकजुट होंगे । इन देशों के अधिकारी प्रतिनिधि विमर्श कर एजेण्डा तय करेंगे कि आने वाले समय में ‘एक पृथ्वी, एक परिवार, एक भविष्य’ सूत्रवाक्य के सन्दर्भ में जी- 20 देशों की कितनी सार्थक भूमिका हो सकती है ।
विश्व शांति, अर्थव्यवस्था, व्यापार, जलवायु परिवर्तन, खाद्य, ऊर्जा सरीखे विषयों पर एक साझा सोच बनाने के प्रयास किए जाएंगे। यह इसलिए भी महत्वपूर्ण है, क्योंकि 85 फीसदी जीडीपी इन्हीं देशों की है, करीब 75 फीसदी कारोबार यही देश करते हैं और करीब 67 फीसदी आबादी इन्हीं देशों में बसती है। एक तरह से यही देश दुनिया हैं। भारत ऐसे सक्षम देशों के मंच की अध्यक्षता करेगा और बुनियादी एजेण्डा भी शेष सदस्य देशों के सामने प्रस्तुत करेगा, यह उपलब्धि और सम्मान सामान्य नहीं है। 2023 में भारत की जीडीपी 3 ट्रिलियन डॉलर को पार करने की स्थिति में होगी। भारत आज विश्व की तीसरी सबसे बड़ी क्रय- शक्ति वाला देश है और हम विश्व की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था तो पहले ही बन चुके हैं ।